Edited By Rohini Oberoi,Updated: 09 Jul, 2025 03:34 PM

हर घर में किसी न किसी रूप में ज़हर मौजूद होता है चाहे वह दवाइयों के रूप में हो या कीटनाशकों के। कई बार लोग झगड़े-लड़ाई में या फिर गलती से इसका सेवन कर लेते हैं। ऐसी आपातकालीन स्थिति में अगर सही और त्वरित प्राथमिक उपचार न मिले तो पीड़ित की जान भी जा...
नेशनल डेस्क। हर घर में किसी न किसी रूप में ज़हर मौजूद होता है चाहे वह दवाइयों के रूप में हो या कीटनाशकों के। कई बार लोग झगड़े-लड़ाई में या फिर गलती से इसका सेवन कर लेते हैं। ऐसी आपातकालीन स्थिति में अगर सही और त्वरित प्राथमिक उपचार न मिले तो पीड़ित की जान भी जा सकती है। यह जानना बेहद ज़रूरी है कि अगर कोई ज़हर खा ले तो उसे सबसे पहले क्या देना चाहिए और किन बातों का ध्यान रखना चाहिए।
ज़हर का असर: प्रकार और मात्रा पर निर्भर
ज़हर खाने के बाद किसी भी इंसान की स्थिति और मौत की संभावना ज़हर की किस्म और उसे कितनी देर पहले खाया गया है इस पर निर्भर करती है। कुछ ज़हर कम विषैले होते हैं जबकि कुछ बहुत ज़्यादा ख़तरनाक।
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कम विषैले: नींद की गोलियाँ, कुछ सामान्य टैबलेट या कैप्सूल सीधे पेट में जाते हैं और उनका असर थोड़ी देर में होता है।
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अत्यधिक विषैले: चूहे मारने की दवा, फिनाइल या कपूर की गोलियाँ बेहद खतरनाक साबित हो सकती हैं और इनका असर ज़्यादा तेज़ी से होता है।
ज़हर मौत का कारण तब बनता है जब कोई इसे ज़्यादा मात्रा में खा लेता है। ऐसे में पीड़ित को बचाने के लिए तत्काल प्राथमिक उपाय बेहद ज़रूरी हैं।

ज़हर खाने पर क्या करें? प्राथमिक उपचार के तरीके
ज़रूरी सूचना: यह जानकारी केवल प्राथमिक उपचार के लिए है। ज़हर खाने पर तुरंत डॉक्टर या अस्पताल से संपर्क करना सबसे महत्वपूर्ण है।
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उल्टी कराने का प्रयास (जब सुरक्षित हो):
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जो ज़हर ज़्यादा विषैले नहीं होते हैं उनको खाने के बाद आमतौर पर मरीज खुद ही उल्टी कर देता है।
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अगर वह उल्टी नहीं कर रहा है और डॉक्टर ऐसा करने की सलाह दें तो उसे उल्टी कराना ज़रूरी हो सकता है।
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सरसों के बीज: थोड़े से सरसों के बीज को पानी में पीसकर घोल बना लें और चम्मच से मरीज को खिलाएँ। इसके कुछ देर बाद ही मरीज उल्टी कर देगा।
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नमक का पानी: अगर सरसों न हो तो एक गिलास पानी में एक मुट्ठी नमक मिलाकर उसे पिला दें। इससे भी मरीज कुछ देर में उल्टी करने लगता है।
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कब उल्टी न कराएं?
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डॉक्टरों की सलाह: डॉक्टरों की मानें तो उस शख्स को तब तक उल्टी नहीं करानी चाहिए जब तक डॉक्टर ऐसा करने के लिए न कहें। कुछ प्रकार के ज़हर में उल्टी कराना हानिकारक हो सकता है (जैसे तेज़ाब या क्षारीय पदार्थ जो वापस आने पर और नुकसान पहुंचा सकते हैं)।
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यदि पीड़ित बेहोश हो या साँस लेने में कठिनाई हो: ऐसी स्थिति में उल्टी कराने की कोशिश न करें क्योंकि इससे दम घुट सकता है।
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मुँह की सफाई और तुरंत मेडिकल सहायता:
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अगर व्यक्ति खुद से उल्टी कर दे या उल्टी करा दी जाए तो उसके मुँह को अच्छी तरह साफ करने की कोशिश करें।
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सबसे महत्वपूर्ण कदम है कि पीड़ित को तुरंत नज़दीकी डॉक्टर या अस्पताल ले जाएं। डॉक्टर को यह ज़रूर बताएं कि व्यक्ति ने क्या खाया है और कितनी मात्रा में।

याद रखें ये केवल प्राथमिक उपचार के तरीके हैं। ज़हर के मामले में चिकित्सीय आपातकाल होता है और पेशेवर डॉक्टरों की मदद ही सबसे अहम होती है।